तेरे नाम
किसी खूबसूरत कवि की कल्पना हो तुम,
खुद को भूल जाऊं वो नशा हो तुम,
अब होश आए ना कभी तो बेहतर होगा,
सपना ही सही, मेरे अपने हो तुम.
किसी खूबसूरत कवि की कल्पना हो तुम,
खुद को भूल जाऊं वो नशा हो तुम,
अब होश आए ना कभी तो बेहतर होगा,
सपना ही सही, मेरे अपने हो तुम.