फेडरल बैंक हॉर्मिस मेमोरियल फाउंडेशन, न्यूज़18 नेटवर्क और टाटा ट्रस्ट ने अपनी सहयोगी पहल ‘संजीवनी’ के जरिए कैंसर जागरूकता आंदोलन की नींव रखी है

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Kolkata October, 2023: फेडरल बैंक हॉर्मिस मेमोरियल फाउंडेशन और न्यूज़18 नेटवर्क ने नई दिल्ली में एक विशेष कार्यक्रम के अंतर्गत एक सहयोगी पहल का अनावरण किया। ‘संजीवनी- कैंसर के खिलाफ एकजुटता’ नामक इस पहल का नॉलेज पार्टनर टाटा ट्रस्ट्स है। ‘संजीवनी’ कैंसर से जुड़ी व्यापक भ्राँतियों का दृढ़ता से मुकाबला करने के लिए प्रयासरत है, साथ ही यह एक महत्वपूर्ण कारक के रूप में इस बीमारी का शीघ्र पता लगाने के महत्व पर जोर देती है, जिससे कि इस पर सफलतापूर्वक काबू पाया जा सके।

‘संजीवनी’ के उद्घाटन समारोह में केंद्रीय स्वास्थ्य और परिवार कल्याण मंत्री डॉ. मनसुख एल मंडाविया ने किफायती कैंसर उपचार के लिए भारत की प्रतिबद्धता पर प्रकाश डालते हुए कहा, “ कैंसर के लिए 90 दवाओं में से, भारत सबसे किफायती दरों पर 42 दवाएँ प्रदान करता है। हमारा दृष्टिकोण समग्र और बहुआयामी है। हम कैंसर अस्पतालों और तृतीयक देखभाल सुविधाओं (पर्याप्त सुविधाओं की कमी के चलते संदर्भित की जाने वाली सुविधाएँ) के विस्तार, चिकित्सा शिक्षा को बढ़ावा देने और आयुष्मान भारत जैसी सार्थक पहल के माध्यम से हेल्थ इंफ्रास्ट्रक्चर को मजबूत करने पर ध्यान केंद्रित करते हैं। संजीवनी पहल से लोगों के बीच चर्चा और विचार-विमर्श को बढ़ावा मिलेगा। इसके माध्यम से आप हमें इस विषय पर अपने विचार भेज सकते हैं, जिससे हमें लोगों से मिलने वाले सुझावों पर पर काम करने में मदद मिल सकेगी। भारत के स्वास्थ्य मॉडल में सार्वजनिक भागीदारी अहम् भूमिका निभाती है और यह इसका अभिन्न अंग है। अपने विचार हमारे साथ साझा करें, ताकि देश में हम सभी साथ मिलकर बीमारियों से लड़ सकें।”

श्याम श्रीनिवासन, एमडी और सीईओ, फेडरल बैंक, ने कहा, “संजीवनी पहल के माध्यम से हम व्यक्तियों को कैंसर बीमारी के प्रति जागरूक करने के लिए प्रतिबद्ध हैं। साथ ही, हम देखभाल करने वालों को जमीनी स्तर पर सहायता प्रदान करने के लिए समर्पित हैं, जिन्हें परिणाम के रूप में अक्सर आर्थिक और शारीरिक दबाव का खामियाजा भुगतना पड़ता है। दुर्भाग्य से कई देखभालकर्ताओं तक उचित सुविधाओं की कम पहुँच है, और हमारी प्रतिबद्धता इसमें सुधार लाने में मदद करने के लिए ठोस कदम उठाने की है। हमने एक कर्मचारी कार्यक्रम की शुरुआत की है, जिसके तहत हमारे कर्मचारी स्थानीय समुदायों के साथ सक्रिय रूप से जुड़ते हैं, ताकि व्यक्तियों को जागरूक और परीक्षण को प्रोत्साहित किया जा सके। इसके अतिरिक्त, हम इस सीएसआर पहल के रूप में विशेष रूप से देश के दूरदराज के हिस्सों में पहचान को आसान बनाने के लिए एआई-आधारित समाधानों पर काम करने के इच्छुक हैं। हम कैंसर के खिलाफ हमारी राष्ट्रव्यापी लड़ाई में जागरूकता बढ़ाने, जमीनी स्तर के समुदायों तक पहुँच स्थापित करने और इस बीमारी का शीघ्र पता लगाने के लिए टेक्नोलॉजी का लाभ उठाने के इस दीर्घकालिक मिशन के लिए समर्पित हैं।”
सिद्धार्थ शर्मा, सीईओ, टाटा ट्रस्ट्स, ने कहा, ” हमने कैंसर से लड़ने और किफायती कीमतों पर गुणवत्तापूर्ण कैंसर देखभाल उपचार उपलब्ध कराने की अपनी प्रतिबद्धता को जारी रखा हुआ है। टाटा ट्रस्ट एक स्वस्थ भविष्य को आकार देने के लिए समर्पित हैं, जहाँ समय पर जाँच और इस बीमारी का शीघ्र पता लगाना सर्वोपरि है। हमारे निरंतर सहयोग और साझा दृष्टिकोण के माध्यम से हम सामाजिक और आर्थिक बाधाओं को तोड़ने का लक्ष्य रखते हैं, जिससे कि कैंसर के खिलाफ हमारी जंग में प्रगति मिल सके।”


पुनीत सिंघवी, सीईओ- डिजिटल और प्रेसिडेंट- कॉर्पोरेट स्ट्रैटेजी, नेटवर्क18 मीडिया एंड इन्वेस्टमेंट्स लिमिटेड, कहते हैं, “एक जिम्मेदार न्यूज़ नेटवर्क के रूप में, हम महत्वपूर्ण मुद्दों पर प्रकाश डालने के लिए प्रतिबद्ध हैं। हमारा संजीवनी अभियान इस बीमारी का शीघ्र पता लगाने और समय पर जाँच के महत्वपूर्ण महत्व पर जोर देकर कैंसर के खिलाफ जंग को मजबूत बनाता है, ताकि उचित समय पर इससे ग्रसित व्यक्ति विशेष के जीवन को बचाया जा सके। जागरूकता, शिक्षा और ‘फेडरल बैंक हॉर्मिस मेमोरियल’ और ‘टाटा ट्रस्ट’ जैसे संस्थानों के साथ सहयोग के माध्यम से, हमारा लक्ष्य इस संदेश को देश भर में प्रभावी ढंग से पहुँचाना और एक बेहतर स्वास्थ्य के मूल्य और नियमित स्वास्थ्य परीक्षण की महत्वपूर्ण भूमिका को रेखांकित करना है।”


इस कार्यक्रम में प्रमुख हस्तियों की भागीदारी देखी गई, जिसमें पद्मश्री डॉ. राजेंद्र बडवे, डायरेक्टर, टाटा मेमोरियल सेंटर; अमिताभ दुबे, मैनेजिंग डायरेक्टर, नोवार्टिस इंडिया; और साथ ही डॉ. श्याम अग्रवाल, सर गंगा राम हॉस्पिटल; डॉ. विनीत तलवर, राजीव गांधी कैंसर इंस्टीट्यूट; डॉ. शर्मिला पिंपले, सेंटर फॉर एपिडेमियोलॉजी (सीसीई), टाटा मेमोरियल सेंटर; डॉ. हर्ष महाजन, महाजन इमेजिंग एंड लैब्स; डॉ. विनोद रैना, फोर्टिस हेल्थकेयर; और डॉ. सुवर्षा खन्ना, धर्मशिला कैंसर फाउंडेशन एंड रिसर्च सेंटर जैसे प्रतिष्ठित ऑन्कोलॉजिस्ट्स के नाम शामिल हैं। इसके अतिरिक्त, इस कार्यक्रम में प्रसिद्ध अभिनेत्री लिसा रे, क्रिकेटर युवराज सिंह और फिल्म निर्देशक अनुराग बसु जैसी हस्तियाँ भी प्रेरणा के रूप में शामिल थीं, जो कैंसर से ग्रसित हो चुकी हैं और अब स्वस्थ हैं।


कार्यक्रम में ‘करेज बियॉन्ड द स्पॉटलाइट’ विषय पर एक पैनल चर्चा का आयोजन किया गया, जिसके दौरान, लिसा, अनुराग और युवराज ने कैंसर से लड़ने और उस पर काबू पाने की अपनी कठिन यात्रा साझा की। लिसा रे ने अपने मल्टीपल मायलोमा निदान और बीमारी के बारे में जागरूकता बढ़ाने के लिए रेड कार्पेट का उपयोग करने के अपने निर्णय के बारे में बातचीत की। अनुराग बसु ने अपने करियर के चरम पर अपनी अप्रत्याशित कैंसर यात्रा के बारे में बात की, जबकि युवराज सिंह ने कैंसर निदान पर अपने प्रारंभिक अविश्वास पर चर्चा की और साथ ही यह भी बताया कि किस प्रकार इसने जीवन के प्रति उनके दृष्टिकोण को बदलकर रख दिया।

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